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हम चाहते ह कि इस पृष पर राजनीकत, राजनीकत शा िे कशि, छा एवं पाि िी सहभाकिता बढ। आप अपना आलेख, किपपणी आकि भेज सिते ह। पता: संपािि, िैकनि भािर, आशा आिड, अनीसाबाि, पिना-८००००२ िलीफोन : ०६१२-३९२२००० फैकस : ०६१२-२२५२४२४. ई-मेल :[email protected] हम लिख राजनीति दैतनक भासकर , पटना, शुवार, 3 जुलाई, 2015 13 लिहार लिधानसभा चुनाि 308 मकहला ताशी थ 2010 म संप हुए कवधानसभा चुनाव म। (ोत: एडीआर) पबक के मु इनपुट: रमण ािुर, िमलेश िुमार, सतिाश, मृतंज पानी को तरसते पॉश इिाके के िोग गया { विधानसभा चुनाि के दौरान विवभ दल के तावि को जनता के सिाल की बौछार सहनी प सकती है। वजले के विवभ विधानसभा े म कई ऐसी बुवनादी समसाएं ह, वजनका समाधान आज तक नह हो पाा है। गा नगर विधानसभा े म गा िहर के पाॅि इलाके एपी काॅलोनी सवहत अइलाक म पेजल की समसा से लोग परेिान ह। िजीरगंज विधानसभा े के लोग िजीरगंज को अनुमंडल का दजा वदलाने की मांग करते रहे ह। ऐ म की मंी रामविलास पासिान ारा विलानास वकए गए ए सील पलां का वनमाण का अब तक ि नह हो सका है। िेरघाी विधानसभा े म िरघाी को वजला का दजा वदलाए जाने की मांग ि से उठती रही है। िह हां उ विा का क बनाने के वलए भी लोग आिाज उठाते रहे ह। गुआ े म उरी कोल नहर परोजना िु करने तथा गुरा चीनी वमल को पुनः चालू कराने की मांग वपछले चुनाि म भी मुा था। इस बार लोग इन मु प तावि से सिाल करगे। पेयजल संकट गया िग पूछ रहे आलखर कि िनेगा अंडरपास जहानािाद { ं तो वजले के हर इलाके म समसा की भरमार है, पर हर बार जावतिाद हािी हो जाता है। इससे इलाके का असली एजडा चुनाि आते-आते पीछे छू जाता है। घोसी विधानसभा े म फलगु नदी म उदेरा सथान बराज का वनमाण, पुनपुन नदी म मोतेपुर म पका बांध, हमीदनगर वसंचाई परोजना से वजले के वकसान को लाभ पहुंचाना आवद मुख सिाल रहे ह। वफलहाल एनएच-110 पर राजाबाजार ससथत रेलिे अंडरपास का विसतार सबसे अहम सिाल बन गा है। इसकी िजह से जहानाबाद वजले की लगभग दो वतहाई आबादी बुरी तरह भावित है। इस समसा ने जहानाबाद िहर के विकास को बावधत कर रखा है। आरा से वबहारिरीफ को जोने िाली इस महतिपूण सक पर भारी अिरोध से आिागमन पर भी असर पा है।इस मसले पर अब तक वसफ बानबाजी हुई है, कोई ठोस पहल नह की गई है। औोवगक ांगण वपछले डे दिक से बंद है। औोवगक वपछापन भी वजले के वलए बा एजडा है। आवागमन बाधित जहानािाद चार बार शिलानास िग का िड़ा सिाि कि िनेगा ओिरलज सहरसा {वजले म दो ऐसी समसाएं ह, वजनसे चार विधानसभा े- सहरसा, मवही, सोनिा राज और वसमरी बसतारपुर सवहत पूरी कवमरी की जनता भावित होती है। बंगाली बाजार ससथत रेल ओिरवज का वनमाण नह होने से अबतक कई जान जा चुक ह। ओिरवज का चार बार विलानास हो चुका है। ओिरवज न होने से रोज जाम की सथवत रहती है। जाम के कारण कई मरीज रासते म ही दम तो चुके ह। दूसरा सबसबा मुा है- जलजमाि। हर चुनाि म लोग को उमीद बंधती है वक इस बार िाद जलवनकासी की विसथा हो, पर ऐसा हो नह पाता। भाजपा विधाक आलोक रंजन इसके वलए सरकार की उदासीनता को वजममेिार बताते ह। िे कहते ह- िहरी े से अवधकतर विधाक भाजपा के ह, इसवलए इसे ठंडे बसते म रखा गा है। ओरिवज के वलए राज सरकार ने क को मुकमल ररपो नह दी। राजद तािी रहे अण ादि कहते ह वक हां की सबसे बी समसा जलजमाि की है। इस पर सभी नेता ने बात की पर समसा का वनदान नह हुआ। सहरसा जजर तीन पुि लिर िनगे चुनािी मुा भागिपुर {इस बार वफर चुनाि म जजर भना, चंपानाला और बैजानी पुल मुा बनेगा। िहर को तीन वहसस से जोनेिाले े तीन मुख पुल कभी भी धिसत हो सकते हंै। बीते लोकसभा ि विधानसभा उपचुनाि म कामेबेि सभी पाव के नेता ि तावि ने पुल बनिाने का िादा वका था। लेवकन एक साल से अवधक का सम बीत गा, पर प-विप वकसी ने पुल बनिाने म कोई खास वदलचसपी नह ली। हां से पहले चुनाि जीत चुके नेता ने भी े के लोग को पुल बनिाने का भरोसा वदा था। बार-बार नेता के झूठे िादसे जनता खुद को ठगा महसूस कर रही है। हलांवक, भना पुल कलहगांि, चंपानाला ि जगदीिपुर पुल नाथनगर विधानसभा े म पता है। िहर का अवभिाप बन चुका भोलानाथ पुल बनिाने की दिक से बात होती रह। लेवकन सभी दल के जनवतवनवध जीत जाने के बाद दुबारा पुल के बारे म नह सोचते। हां साल पर गंदे नाले का पानी जमा रहता है। रोज-रोज की परेशानी भागिपुर चुनािी खचा लपछिी िार हिा म खूि उड़ी कांेस छले विधानसभा चुनाि म कांेसी नेता हिा म उने के मामले म सबसे आगे थे, पर इसका लाभ उसे नह वमला था। पा केिल चार सी जीतने म ही कामाब रही। विवभ दल ारा चुनाि आोग को सपी ररपो के मुतावबक हेवलकॉपर पर कांेस ने अकेले वजतना खच वका, उतना भाजपा, जदू, लोजपा और बसपा वमल कर भी नह खच कर सके। हिाई ाा पर कांेस ने सिावधक 10.92 करो पए खच वकए, जबवक भाजपा ने 5.71 करो, जदू ने 3.54 करो, बसपा ने 0.89 और लोजपा ने 0.66 करो खच वकए। वपछले चुनाि म सभी मुख दल ने सबसे जादा खच चार पर वका। इसम ीिी चैनल, अखबार म चार, पोसर, होवडग का खच िावमल है। चार पर खच करने के मामलम भी कांेस सबसे आगे थी। उसने 19.59 करो पए खच वकए, जो उसके कुल खच का 43.08 वतित था। भाजपा दूसरे सथान पर थी, उसने 8.89 करो पए खच वकए। ह रावि पा ारा खच की गई कुल रावि का 34.40 वतित थी। तीसरे नंबर पर जदू था, उसने 2.4 करो पए खच वकए। जदू अकेला ऐसा दल था, वजसने चार से अवधक नेता की ाा पर खच वका। पा ने नेता की ाा पर 3.64 करो खच वकए, जो कुल रावि का 40.13 वतित था। चुनाि आोग को विवभ दल ारा सपी गई ररपो का विशलेण करते हुए एडीआर और इलेकिन िॉच ने अपनी एक खास ररपो जारी की है, वजसके अनुसार कांेस ने चंदे और सहोग के प म सबसे जादा 48.93 करो पए हावसल वकए। चुनाि म पा ने 45.47 करो पए खच कर वदए। भाजपा ने सहोग के प म 21.8 करो पए पाए, जबवक 25.4 करो पए खच वकए। जदू ने 2.14 करो पए सहोग के प म पाए, जबवक उसने 9.07 करो खच वकए। हर दल को चुनाि की घोणा के बाद चुनाि होने तक आ और व का खच देना होता है। वपिली बार मुख दल म राजद ने ह वहसाब चुनाि आोग को नह वदा था। कुमार अनिल नोटा तो पिला, लेपिन इससे हो का जाएगा? नोिा, ानी इलेकाकनि वोकिंि मशीन पर लिी नापसंििी िा बिन। ‘माकलि जनता’ िो अिर अपने े िा िोई भी सेवि (उममीिवार) पसंि नह है, तो वह इस बिन िो िबा िेिा। नोिा, इस प म चाररत हुआ कि कसिम ने माकलि पर बड़ा अहसान किा। लेकिन इससे हो का जाएिा? का चुनावबाज िी िोली खुि िो इस लाि बना लेिी, कजसिे चलते इस बिन िो लिाने िी जरत पड़ी? कपछले लोिसभा चुनाव से नोिा शु हुआ। िछ भी बिला का? राइि िू ररिॉल, ानी चुने िए जनकतकनकध िो िािाल पूरा होने से पहले वापस बुलाने िा अकधिार, बड़ी पुरानी मांि रही है। ह लोितं म जनता िी माकलिाना हैकसत िो िाम रखने िे कलए जरी माना िा। चौहर आंिोलन िमुख मुा था। लेकिन नोिा ति सीकमत रह िा। नोिा िा िोई मतलब इसकलए भी नह है कि हां तो 17-18 कतशत वोि पािर भी नेता लोि संसि ा कवधानसभा म पहुंच जाते ह। भाजपा िे गढ़ ि सधिारी िी रणनीपत पटना साधिब धविानसभा े रिेश पि | पटना पसटी भा जपा के ग माने जाने िाले पना सावहब विधानसभा े म राजनीवतक समीकरण इस बात का संकेत दे रहा है वक जदू-राजद गठबंधन भाजपा की ताकत को तो सधमारी करने की रणनीवत बना रहा है। रणनीवत एिं तैारी का असर का होगा, ह आने िाला िकत बताएगा। वफलहाल जदू,राजद ि कांेस की चाल एक ही है वक वकसी तरह भाजपा को विकसत दी जाए। वपछले चुनाि की बात कर, तो भाजपा का सीधा मुकाबला कांेस से हुआ था। राजद तीसरे नंबर रहा था। लगातार मुंह की खा रही कांेस के काकता का उतसाह ि उमंग कमजोर पता गा। जबवक राजद का खेमा भी कमजोर होता गा। इस बार की सथवत सपष होती नह वदख रही है, लेवकन कांेस ि जदू के संभावित तािी वक पाने के वलए लगातार ास कर रहे हंै। लेवकन आलाकमान की नजर ऐसे तािी की तलाि म है,जो भाजपा तािी से सीधा मुकाबला करने म सम हो। इस बात से इनकार नह वका जा सकता है वक महागठबंधन की ताकत बी है। इससे काकता म वपछले चुनाि कमुकाबले उतसाह बा है। तीसरे कोण की संभािना पूरी तरह से खारज होती है। वपछले तीन चुनाि म कांेस का सीधा मुकाबला भाजपा से हुआ है। इस सथवत म कांेस, भाजपा से मुकाबले के वलए वफर से तैार बैठी है, लेवकन पररितन ि जाती समीकरण को देखते हुए जदू के खाते म भी ह सी जा सकती है। हां से भाग आजमा चुके राजकुमार राजन ि परिेज अहमद कसाथ नए चेहरे की बात कर, तो रतनदीप रा वक की दािेदारी म िावमल ह। जदू के नेता का मानना है वक महागठबंधन से ताकत बी है। चुनाि म इसका पररणाम सामने आएगा। िह भाजपा को अपने पुराने िो बक ि संगठन का भरोसा पहले की तरह काम है। महागठबंधन सामने आने के बाद ि बक कमजोर न पे, इसके वलए भाजपा ने ुिा की ीम को सव वका है। जदू तािी के चहरे कुछ सपष होते नह वदख रहे ह। वपछला चुनाि विकास के मुे पर आधारत था, जबवक इस बार महागठबंधन के नेता-काकता मुमंी नीतीि कुमार की विकास ोजना को सामने रख मतदाता के बीच दसतक रहे ह। े म आप ि हम पा की गवतविवधां भी बी है। दुशिनी िे बाद दोसती िी परीा नवादा धविानसभा े अशोि पदश | नवादा बा त बारह साल पहले की बात है। 2003 म पूि मंी राजबललभ साद की भाभी वमला देिी एमएलसी के सथानी वनका चुनाि म राजद समवथत उममीदिार थ। तब जदू विधाक कौिल ादि के वम सलमान रागीि मुा वनदली आ गए थे। वलहाजा, वमला हार ग। तब से राजबललभ को कौिल खेमे से लगातार पखनी वमलती रही है। इसके बािजूद मौजूदा एमएलसी चुनाि म राजबललभ और कौिल साथ आए ह। इस दफा भी रागीि जदू समवथत उमीदिार ह। ऐसे म कई सिाल उठ रहे ह। सिाल राजबलभ के राजनीवतक कदम को लेकर है। कवक वजस निादा विधानसभा सी पर राजबललभ दो बार वनिावचत हुए, उस सी का वतवनवधति फरिरी, 2005 से कौिल की पी पूवणमा ादि कर रही ह। जबवक कौिल ादि गोविंदपुर का वतवनवधति करते ह। हालांवक मंच साझा करने के पहलराजबललभ ने कहा था वक लालू साद और नीतीि कुमार से बात करने के बाद कोई वनण लगे। का बात हु, ह कौिल और राजबलभ तक सीवमत है। लेवकन 20 साल की वसासी कुशती के बाद की मौजूदा दोसती पर सबकी वनगाह है। देख तो, वपछले दो दिक से राजबलभ और कौिल के बीच िह मात का खेल जारी रहा है। पहली दफा 1995 म वनदली राजबलभ ने कांेस उममीदिार कौिल को परावजत वका था। तब 2000 से कौिल ने गोविंदपुर का ख कर वला था। लेवकन राजबललभ से वसासी लाई जारी रही। फरिरी और अकतूबर 2005 तथा 2010 के विधानसभा चुनाि म राजद के राजबललभ को पूवणमा ादि से हार का सामना करना पा। पूवणमा 2005 के चुनाि म वनदली, जबवक 2010 म जदू से चुनाि ली थ। 2004 के लोकसभा चुनाि म लालू साद ने राजबलभ और कौिल को एक मंच पर लाा था। लेवकन िीरचंद पासिान की जीत का े राजबललभ को नह वमला। वलहाजा, दोसती बा आकार नह ले सकी। बहरहाल, दोन की एकता को महागठबंधन के वलए सुखद माना जा रहा है। लेवकन आगे की दोसती विधानसभा चुनाि म निादा सी पर वनभर करती है। राजबललभ को अिसर नह वमला, तो ऐसे म िे का वनण लेते ह, इस पर सभी की नजर वकी ह। िकतं म जनता िाकई मालिक है? जनता के वोट ससरकार बनती है और बस इसलिए वह मालिक कहिाती है। िलकन सबसे बड़ा सच यही है लक जयादातर का वोट बाकायदा िे लिया जाता है। वोट िेने के लतकड़म ह। तरीके ह। तरह- तरह की िीिा है। वोट के लिए नोट बंटते ह। शराब बंटती है। अगर लवकास का पैमाना, िोग की सोच या अपेा नािी, पानी जैसे मसि से आगे नह बढी, जनता लशलत न हुई, तो कौन कसूरवार है? एक बात जर हुई है। अब नेता कबहकावे पर िोग पहिे की तरह एक- दूसरे को मारने पर उता नह होते ह। चुनािी जंग तन राजपूत, वपछले लोकसभा चुनाि म मतदान की महा बता वतित बाने िाले अवभान की ांड एंबेसडर थ। वबहार के कई े म घूमने कबाद बोल-‘हां अब भी दस पए म िो वबकता है।’ ह 21 ि सदी म लोकतं की जनमभूवम पर उस जनता की हैवसत ा असवलत है, जो लोकतं म मावलक कहलाती है। िह चुनाि साल भर पहले ही हुआ है। एक साल म ऐसा का हुआ ा सामने वदख रहे विधानसभा चुनाि तक ऐसा का हो जाएगा वक जनता, िाकई मावलक कहलाएगी? बात रतन की ा उनके सही, गलत होने की नह है। ह तो बस उदाहरण है। इस पर बहस की गुंजाइि भी नह। चूंवक खुली साई है वक संसदी णाली म जनता की भूवमका िो देने से जादा की नह है? बेिक, जनता के िो से सरकार बनती है और बस इसवलए िह मावलक कहलाती है। लेवकन सबसे बा सच ही है वक जादातर का िो बाकादा ले वला जाता है। िो लेने के वतकम ह। तरीके ह। तरह- तरह की लीला है। िो के वलए नो बंते ह। चुनाि, नकली नो के कारोबार का सबसे बा मौका होता है। िराब बंती है। नो लेकर, िराब पीकर और जावत-धम के बहकािे म आकर का ऐसी िोवंग हो सकती है, जो िो वगराने िाले को िासति म मावलक का दजा दे? िोवंग से पहले ा चुनाि के बाद जनता की मावलकाना ताकत और इस लाक उसकी बुता कह, कभी वदखती है? रहनुमा की ोली विसंगवत का पहा खा कर देती है, और सीधे जनता से अपेा करती है वक िह इसे दुसत करे। नेता, अपने कारनाम को जनता के वसर खेल जाता है। गजब। किसने कितने िा किया कनवेश अभी विधानपररद की 24 सी के चुनाि का दौर है। अगले हफते सबकुछ हो जाएगा। इसम िे लोग ि दगे, जो व-सतरी सथानी वनका के वतवनवध ह। े जनता ारा चुने गए ह। इनसे जनता से अवधक बुता की अपेा तो की ही जानी चावहए। मगर हो का रहा है? कोई भी पा ा नेता ईमानदारी से बताएगा वक इस चुनाि म जीत की आकांा रखने िाल ने वकतने करो प का वनिेि वका है? जो विसथा जनता के चुने वतवनवध का िो खरीद सकती है, िहां भला बेचारी सी जनता की का वबसात? नेता िे कनरय म जनता िहां? आजकल जो कुछ भी हो रहा है, जनता से पूछकर हो रहा है? दल बदलने, दोसती-दुशमनी करने, गठबंधन बनाने आवद के बारे म वकन सेिक ानी नेता ने अपने मावलक (जनता) से पूछा? उसकी अनुमवत ली गई? राजनीवत का अपराधीकरण, का जनता की सहमवत से है? उमीदिारी त करने म जनता की भूवमका होती है? अगर िह सही म मावलक है, तो होनी चावहए वक नह? अरे, हां तो मावलक को उसकी जावत की वबसात पर उसके सेिक (नेता) ही नचा रहे ह। मावलक, जावत के चाजर से बआराम से चाज हो जाते ह। जहां जावत नह चलती, िहां कौम ा धम मजे म चल जाता है। नेता की लाई का गाली चरण खुलेआम है। बेमतलब के मसले मुा बनाे जा रहे ह। जनता, सबकुछ ुकुर-ुकुर देख रही है। मावलक की ही हैवसत होती है? अब तो मावलक अपने सेिक से सिाल भी नह पूछते। कह- कह चुनाि बवहषकार के नारे सुनने को वमलते ह लेवकन इसकी गूंज म इतनी ताकत नह होती, जो नेता को जनता से मावलक जैसा विहार करने को बाध कर दे। लोग, नेता को खूब कोसते ह और अंतत: उनको िो भी देते ह। जनता को कोई भी, कुछ भी अपने वहसाब से समझा देता है। िह समझ भी जाती है। चौहर के बाद जनता, नेता के बुलािे पर सक पर नह आई। ह जनता का नेता पर से भरोसा उठने का घोवत मौका रहा। दरअसल, चौहर को अपना चेहरा बदलने का मौका मानने िाला वबहार घूम-वफरकर वफर िह पहुंच गा। चौहर के बाद से अब की वबहार की राजनीवतक ाा, कुस के खेल से बहुत अवधक की नह है। अब लोग मरने-मारने िो उता नह आजादी के करीब सात दिक बाद भी ऐसे मावलक की बी तादाद है, जो बेखौफ िो वगराने की वहममत नह रखते। वपछले लोकसभा चुनाि म ऐसे 18 हजार ोले पहचाने गए थे, जहां के लोग के वलए वससम ने कमजोर िग िबद का इसतेमाल वका था। कौन वजममेदार है, इस पर बहस करते रवहए। कहते रवहए वक इसकी सबसे बी िजह जागकता का अभाि है। जातीता की पैदाइि ह से होती है। आवखर जनता अपनी जावत के अपराधी को माफ कर देती है? अगर विकास का पैमाना, लोग की सोच ा अपेा िृािसथा पिन, नाली, पानी जैसे बुवनादी मसल से आगे नह बी, जनता विवत न हुई, तो कौन कसूरिार है? एक बात जर हुई है। अब नेता के बहकािे पर लोग पहले की तरह एक-दूसरे को मारने पर उता नह होते ह। मधुरेश इलेशि : ररतेश िरचंद पटेि पथ पर सा के दालखि-खाररज मोड अतुल उपाधा वब हार की सा का रासता िीरचंद पेल पथ होकर ही गुजरता है। ह सहै। िी तक पहुंचे नेता से लेकर सगलर काकता तक इसे बखूबी जानते ह। इसकी िजह भी ह। दरअसल राजनीवतक दल के दफतर इस पथ के बाजु की तरह ह। कोई दाएं है तो कोई बाएं। ह अलग बात है वक कब हाथ वमलगे और कब पंजा लगे कहना मुसशकल है। बान के बाण भी खूब चलतह। ह हर चुनाि की कहानी है। लेवकन इस बार लुक बदला-बदला है। पुरानी परंपरागत राजनीवतक तकरार से एकदम वडफर। एकबारगी अचानक अगर इनकम ैकस चौराहे पर खे होकर पथ को देख तो पूरा वपकचर सकलर हो जाएगा। एकदम ‘पॉवलवकल वफलम वसी’ म होने जैसा एहसास। चौक- चौराह से लेकर पा कााल के बाहर जहां देवखए बॉलीिुड की बलॉक बसर नई वफलम के मेगा पोसर की तरह रंगीन पोसर ंगे वमल जाएंगे। खे होकर कुछ पल गौर से देवखए तो लगेगा वक सुपर सार की तरह पोसर से झांकते नेता अभी तुरंत आपसे बवताने लगगे। इतना जीिंत...। ह वबहार की राजनीवत का ना लुक है। िर पर ‘इंपैकफुल इंेिन ू डेमसेिन’ के ऐसे कई बेजो नमूने ह हां। कुछ पोसर वबना नेता के भी ह...। ऐसे पोसर म साररंग(नेता नह वदखते) गाब है..। जैसे वसनेमा की कासंग वबना हीरो के नाम के चल रहा हो। मजेदार बात ह है वक इन पोसर का कं भी जबरदसत है। जैसे हर दल वबहार की सा के दावखल खाररज के मोड म हो। खुद सा म दावखल करना है और विरोवध को खाररज कर देना है। अब आइए जरा इनकम ैकस गोलंबर से पॉवलवकल वफलम वसी(िीरचंद पेल पथ) की ओर चलते ह। चौराहे पर खे होते ही लगेगा जैसे कोई बुला रहा है। वििालका पोसर पर नीतीि कुमार की तसिीर वदखेगी। इसके साथ सलोगन भी लोकल च वलए- वबहार म बहार हो, नीतीिे कुमार हो...। इसकनीचे बता रहे वबहार, वफर एक बार नीतीि कुमार। लेवकन ऊपर िाला अभी ताजा है। इस बहार के साथ की ाा भाजपा दफतर पहुंचते-पहुंचते उजे चमन की तरह एहसास कराने लग जाएगा। पोसर के साथ पलिार- अपराध, षाचार और अहंकार का इस गठबंधन से बदलेगा वबहार? हम बदलगे वबहार। अबकी बार भाजपा सरकार। थोा और आगे बवए जदू कााल आ जाएगा। वफर िही बहार वदखेगी। कााल के बाहर ठीक िैसे ही पोसर वदखेगा जैसे मलीपलेकस के बाहर वफलम के चमचमाते पोसर। इसके बाद का नजारा थोा इमोिनल सीन जैसा लग सकता है। जदू कााल की बाउंी खतम हुई नह वक वफर लंबा चौा पोसर दीिार के सहारे बंधा वदखेगा। ह भाजपा का पोसर है। कुछ वदन पहले लगा था लेवकन अब इसकी रौनक और सूरत दोन वबग गई है। बीच से पोसर को वकसी ने जैसे चकक से चीर वदा हो। ह नजारा ठीक िैसे ही है जैसे नई वफलम के ररलीज होने पर जो हाल पुरानी वफलम के पोसर का होता है। हां, पोसर और कआउ से एक सेप और आगे चवलए। बहार िाला गीत भी लांच हो गा है। विद फुल मूवजक। डुए सांग गुिार को िीरचंद पेल पथ ने भी खूब सुना। पर, ह तो िुआत है। अभी सार, बान के िार और कई पॉवलवकल कलाकार की इंवां बाकी ह। कई और पोसर और सांग आएंगे..कलाइमेकस तो अभी बाकी है।

Patna City

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It is a paper in which Patna City has been described.

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